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आदित्य आनंद/गोड्डा. सावन के महीने में सोमवारी करने वालों के फलाहार के लिए आलू और केला की जलेबी बनाई जाती है. यह गोड्डा के गिने-चुने दुकानों पर ही बनती है. सोमवार को इसकी जबरदस्त मांग होती है. इसकी कीमत भी आम जलेबी से अधिक है. जहां कलाई दाल की जलेबी 120 रुपये किलो होती है. वहीं, इस खास फलाहारी जलेबी की कीमत 200 रुपये किलो होती है.
महागामा के हॉस्पिटल रोड स्थित गोपाल मिष्ठान के संचालक अमरजीत कुमार ने बताया कि पूरे सावन यह जलेबी बनाई जाती है. लेकिन सोमवार के दिन इसकी खास मांग होती है. लोग फलाहार करने के लिए इसे लेते हैं. सोमवारी के दिन करीब 50 किलो इस जलेबी की बिक्री हो जाती है. लोग खड़ा होकर गरमा-गरम जलेबी ही लेते हैं.
कैसे बनती है यह जलेबी
दुकानदार ने बताया की आम तौर पर कलाई के दाल को पीसकर जलेबी बनाई जाती है. लेकिन इस जलेबी को बनाने में मेहनत थोड़ी अधिक लगती है. इसमें आलू को उबालकर उसे पीसा जाता है और उसके बाद उसमें केला पीस कर डाला जाता है. इसके साथ पानी फल का आटा भी इसमें मिलाया जाता है. इसके बाद सभी को मिक्स कर इसे घंटों फेटा जाता है. फिर इसे तेल में छानकर उसे चीनी की चासनी में डुबोया जाता है.जलेबी खरीदने आए ग्राहक सोनू कुमार ने बताया कि वह पिछले 25 मिनट से जलेबी खरीदने के लिए लाइन में लगा हुआ है. साल में एक बार यह जलेबी खाने को मिलता है इसलिए उन्हें यह जलेबी काफी स्वादिष्ट लगती है. इसका स्वाद भी बेहद लाजवाब होता है. उनके घर में किसी ने व्रत नहीं किया है बावजूद इसके वह जलेबी खरीदने के लिए आए हैं. क्योंकि सभी को इसका स्वाद बेहद पसंद है.
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FIRST PUBLISHED : July 21, 2023, 17:45 IST
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