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जमशेदपुर21 मिनट पहले
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पढ़ाई के बीच स्कूल छोड़ चुके बच्चों को वापस लाने और उनकी उपस्थिति बनाए रखना चुनौती
पढ़ाई के बीच स्कूल छोड़ चुके बच्चों को वापस लाने और उनकी उपस्थिति बनाए रखना चुनौती है। इस जिम्मेवारी को समुचित रूप से निभाने के लिए विद्यालय प्रबंधन समिति, शिक्षक, पंचायत प्रतिनिधि, समाजसेवी, जन-प्रतिनिधि, शिक्षा विभाग के अधिकारी-कर्मचारी की भागीदारी जरूरी है।
शिक्षा विभाग की ओर से सोमवार को आंध्रा एसोसिएशन सभागार में आयोजित कार्यशाला स्कूल रूआर-2023 (बैक टू स्कूल कैंपेन) में यह राय बनी। कार्यक्रम के दौरान प्रशासन की ओर से 16 जून से 15 जुलाई तक 6 से 18 साल के सभी बच्चों का नामांकन स्कूल में कराने का लक्ष्य रखा गया।
कार्यशाला में डीईओ निर्मला कुमारी बरेलिया ने बताया- विद्यालय से बाहर रह गए बच्चों का शत-प्रतिशत नामांकन, अप्रवासी, छूटे हुए बच्चे एवं विशेष आवश्यकता वाले बच्चे का नामांकन, पिछले साल कक्षा 1 से 11 तक में दाखिला लेने वाले सभी बच्चों का अगली कक्षा में शत-प्रतिशत नामांकन एवं उपस्थिति की पुष्टि, प्राथमिक स्तर से उच्च प्राथमिक स्तर व उच्च प्राथमिक स्तर से माध्यमिक स्तर में नामांकन एवं ठहराव, सभी बच्चों की उपस्थिति ई-विद्यावाहिनी में दर्ज कराना एवं नियमित समीक्षा की जाएगी।
नवनामांकित बच्चों की शत प्रतिशत उपस्थिति करना भी लक्ष्य रखा गया है। डीईओ ने कहा- हाउस होल्ड सर्वे कर स्कूल से बाहर रह गए बच्चों की पहचान कर उनका दाखिला कराया जाएगा। अभियान के लिए 21 जून को प्रखंड स्तर पर और 22 जून को स्कूल स्तर पर कार्यशाला का आयोजन किया जाएगा। मौके पर डीआरडीए निदेशक सौरव कुमार सिन्हा भी उपस्थित थे।
मानसिक व शारीरिक विकास के लिए खेलकूद, योग कराएं : एडीसी
एडीसी जयदीप तिग्गा ने कहा- जिला स्तर इस अभियान की समीक्षा की जाएगी। दैनिक प्रगति की नियमित समीक्षा की जाए। शिक्षा विभाग के साथ अन्य विभाग इसमें सहयोग करेंगे। एडीसी ने उपस्थित प्रिंसिपलों से कहा- वे सिर्फ पढ़ाई नहीं, बल्कि बच्चों के संपूर्ण शारीरिक, मानसिक विकास की दिशा में पहल करें। इसके लिए योगाभ्यास, खेलकूद व अन्य गतिविधि भी संचालित किए जाएं।
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