पाकुड़। भाजपा के नेतृत्व में लोकतंत्र और संविधान पर लगातार हमला कर हमारे देश के फेडरल चरित्र को ही खत्म करने की साजिश की जा रही है। इस बार के संसद सत्र के दौरान विपक्ष द्वारा प्रधानमंत्री और गृहमंत्री से संसद की सुरक्षा के संबंध मे वक्तव्य दिए जाने की मांग करने पर लगभग 146 से ज्यादा विपक्षी सांसदों को संसदीय नियमों की घोर अवहेलना करते हुए निलंबित कर दिया गया है। यह लोकतंत्र पर सत्ता पक्ष का एक बड़ा हमला है जिसका डट कर मुकाबला करना होगा। जिसकी शुरूआत आइएनडीआइए गठबन्धन की ओर से 22 दिसंबर को देशव्यापी लोकतंत्र बचाओ दिवस मनाये जाने से होगी। उक्त बाते बात आज पाकुड़ जिले के पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए सीपीआई (एम) की पोलिट ब्यूरो सदस्य बृंदा कारात ने कही।
उन्होंने कहा कि आज राज्यपाल केंद्र सरकार के एजेंट के रुप में काम कर रहें हैं। इनका काम विपक्ष शासित राज्यों के प्रशासन में केवल अनुचित हस्तक्षेप करना रह गया है।
पार्टी के राज्य सचिव प्रकाश विप्लव ने कहा कि जिले में बंद पड़े पत्थर उधोग को पुनर्जीवित करने, जिले के लाखों बीड़ी मजदूरों को सामाजिक सुरक्षा दिए जाने निर्माण कामगारों का रजिस्ट्रेशन कर उन्हें सामाजिक सुरक्षा के दायरे में लाने, भारी वर्षा से धान की फसल बर्बाद होने का आकलन कर, किसानों को मुआवजा दिए जाने और मुख्यमंत्री की घोषणा के अनुरूप अमड़ापाड़ा और लिट्टीपाड़ा प्रखंडों में वन अधिकार कानून के तहत आदिवासियों को वन पट्टा प्रदान किए जाने और शेरसाहवादी अल्पसंख्यकों को स्थाई प्रमाण – पत्र देने की मांगों को लेकर सीपीआई (एम) जिले के विभिन्न प्रखंडों में जनसुनवाई कर रही है। जिसके बाद 10 जनवरी तक व्यापक जनसंपर्क अभियान चलाकर 20 जनवरी से जिले के सभी प्रखंडों में आंदोलन करेगी।
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बैठक की अध्यक्षता शिबानी पाल ने की। बैठक को जिला सचिव गोपीन सोरेन ने भी संबोधित किया।