पाकुड़। JSSC-CGL परीक्षा में गड़बड़ी और शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे छात्रों पर पुलिस के बर्बर लाठीचार्ज के विरोध में भारतीय जनता युवा मोर्चा (भाजयुमो) ने बुधवार को गांधी चौक पर जोरदार प्रदर्शन किया। हेमंत सोरेन सरकार को युवा विरोधी बताते हुए भाजयुमो कार्यकर्ताओं ने काली पट्टी लगाकर विरोध प्रकट किया और सरकार का पुतला दहन किया। इस प्रदर्शन में बड़ी संख्या में भाजयुमो के कार्यकर्ता और नेताओं ने भाग लिया।
छात्रों पर लाठीचार्ज को बताया अमानवीय
इस मौके पर भाजयुमो के जिला अध्यक्ष अमृत पाण्डेय ने कहा कि “JSSC-CGL परीक्षा में गड़बड़ी का विरोध कर रहे छात्रों पर पुलिस द्वारा किया गया लाठीचार्ज अमानवीय और निंदनीय है।” उन्होंने कहा कि छात्रों ने शांतिपूर्ण तरीके से प्रदर्शन किया था, लेकिन सरकार ने उनकी आवाज दबाने के लिए हिंसा का सहारा लिया।
अमृत पाण्डेय ने कहा, “यह लाठी केवल छात्रों पर नहीं चली है, बल्कि यह सरकार से न्याय की उम्मीद करने वाले हर व्यक्ति की उम्मीदों पर भी प्रहार है। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने छात्रों के शांतिपूर्ण विरोध का समाधान निकालने की बजाय, दमन का रास्ता चुना, जो सरकार की संवेदनहीनता को उजागर करता है।”
CBI जांच की मांग
भाजयुमो ने सरकार से JSSC-CGL परीक्षा में हुई गड़बड़ी की निष्पक्ष जांच की मांग करते हुए कहा कि “सरकार को छात्रों की मांगों पर गंभीरता से विचार करना चाहिए। CGL परीक्षा की गड़बड़ी से हजारों गरीब और मेहनती छात्रों का भविष्य प्रभावित हो रहा है। सरकार को इसे प्रतिष्ठा का विषय न बनाते हुए CBI जांच की सिफारिश करनी चाहिए और छात्रों को न्याय देना चाहिए।”
अमृत पाण्डेय ने कहा, “सरकार की हठधर्मिता और अहंकार छात्रों के भविष्य के लिए खतरा है। भाजयुमो और भारतीय जनता पार्टी छात्रों के साथ मजबूती से खड़ी है और उनकी मांगों को पूरा कराने के लिए हर संभव प्रयास करेगी।”
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कार्यक्रम में नेताओं और कार्यकर्ताओं की भागीदारी
गांधी चौक पर आयोजित इस प्रदर्शन में भाजयुमो के कई वरिष्ठ नेताओं और कार्यकर्ताओं ने भाग लिया। कार्यक्रम में जिला महामंत्री रूपेश भगत, जिला उपाध्यक्ष धर्मेंद्र त्रिवेदी, पूर्व जिला अध्यक्ष विवेकानंद तिवारी, नगर अध्यक्ष सोहन मंडल, पूर्व जिला मंत्री पार्वती देवी, पवन भगत, दुलाल कुमार सिंह, बाबू पहाड़िया, राज पहाड़िया, सूरज भगत, और विवेक सरदार सहित बड़ी संख्या में कार्यकर्ता उपस्थित थे।
सरकार पर आरोपों की झड़ी
भाजयुमो नेताओं ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन पर तीखा हमला करते हुए कहा कि उनकी सरकार युवाओं और छात्रों के साथ अन्याय कर रही है। जिला उपाध्यक्ष धर्मेंद्र त्रिवेदी ने कहा, “छात्रों की आवाज दबाने के लिए पुलिस का इस्तेमाल करना पूरी तरह से लोकतांत्रिक मूल्यों के खिलाफ है। मुख्यमंत्री को इस घटना के लिए माफी मांगनी चाहिए और छात्रों की मांगों को तत्काल पूरा करना चाहिए।”
पूर्व जिला अध्यक्ष विवेकानंद तिवारी ने कहा, “युवाओं के भविष्य से खिलवाड़ करने वाली यह सरकार छात्रों की आवाज को दबा नहीं सकती। भाजयुमो हमेशा छात्रों और युवाओं के हक की लड़ाई लड़ता रहेगा।”
छात्रों के समर्थन में भाजयुमो
भाजयुमो ने यह भी स्पष्ट किया कि छात्रों पर लाठीचार्ज की घटना को वे सिर्फ एक पुलिस कार्रवाई नहीं मानते, बल्कि इसे “सरकार की दमनकारी नीति” का हिस्सा मानते हैं। उन्होंने कहा कि सरकार को यह समझना होगा कि शांतिपूर्ण विरोध लोकतंत्र का अधिकार है, और इसे दबाना सरकार की विफलता को दर्शाता है।
भविष्य में बड़े आंदोलन की चेतावनी
भाजयुमो नेताओं ने चेतावनी दी कि अगर सरकार ने जल्द से जल्द छात्रों की मांगों को नहीं माना और JSSC-CGL परीक्षा की गड़बड़ी की निष्पक्ष जांच नहीं कराई, तो राज्यव्यापी आंदोलन होगा। जिला अध्यक्ष अमृत पाण्डेय ने कहा, “हम शांतिपूर्ण तरीके से प्रदर्शन कर रहे हैं, लेकिन सरकार को यह नहीं भूलना चाहिए कि भाजपा कार्यकर्ता छात्रों के भविष्य को लेकर बेहद गंभीर हैं। यदि सरकार ने हमारी बात नहीं मानी, तो इसका राजनीतिक और सामाजिक परिणाम भुगतना होगा।”
भाजयुमो के इस प्रदर्शन ने JSSC-CGL परीक्षा में गड़बड़ी और छात्रों पर हुए लाठीचार्ज के मामले को एक बार फिर से सुर्खियों में ला दिया है। सरकार पर संवेदनहीनता और लोकतांत्रिक मूल्यों को कुचलने का आरोप लगाते हुए भाजयुमो ने छात्रों को न्याय दिलाने के लिए संघर्ष जारी रखने का संकल्प लिया है। प्रदर्शन में शामिल नेताओं और कार्यकर्ताओं ने स्पष्ट किया कि छात्रहित में उनकी लड़ाई आगे भी जारी रहेगी और जब तक छात्रों को न्याय नहीं मिलता, तब तक भाजपा इस मुद्दे को हर मंच पर उठाएगी।